
Last Updated on 29/08/2020 by Sarvan Kumar
स्मिता पाटिल का जन्म 17 अक्टूबर 1955 में पुणे महाराष्ट्र में हुआ था. पिता का नाम शिवाजीराव गिरधर पाटिल था जो कि एक पॉलीटिशियन थे. माता का नाम विद्यावती पाटिल था.
फिल्म एंड टेलीविज़न इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंडिया पुणे से पढ़ाई करने के बाद स्मिता पाटिल ने श्याम बेनेगल की बंगाली फिल्म चंद्रहास चोर(1975) से अपने करियर की शुरुआत की. स्मिता पाटिल को समानांतर सिनेमा के लिए याद किया जाता है. लेकिन ऐसा नहीं है कि उन्होंने सिर्फ आर्ट फिल्मों में काम किया, उसने कमर्शियल फिल्मों में भी अच्छा खासा काम किया है.
व्यक्तिगत जीवन
स्मिता पाटिल ने अभिनेता राज बब्बर से शादी किया था. इस रिश्ते के लिए उन्हें अपने प्रशंसकों और मीडिया से काफी आलोचना सहना पड़ा. कारण यह था राज बब्बर पहले से ही शादीशुदा थे. उनकी पहली पत्नी का नाम नादिरा बब्बर था . राज बब्बर ने स्मिता पाटिल से शादी करने के लिए नादिरा को छोड़ दिया था.
मात्र 31 साल की आयु में स्मिता पाटिल की मृत्यु
13 दिसंबर 1986 में मात्र 31 साल की आयु में स्मिता पाटिल ने इस दुनिया को अलविदा कह दिया. मौत के करीब 2 सप्ताह पहले , अपने पुत्र प्रतीक बब्बर को जन्म दिया था. प्रसव संबंधित जटिलताओं के कारण उनकी मृत्यु हो गई. उनकी मौत पर भारत के महान फिल्म निर्देशकों में शुमार मृणाल सेन ने आरोप लगाया था की उनकी मृत्यु चिकित्सा लापरवाही से हुई है.
स्मिता पाटिल की उल्लेखनीय फिल्में
स्मिता पाटिल की गिनती हिंदी सिनेमा के सबसे मुकम्मल अदाकारा मे होती है. लगभग 12 साल के करियर में उनहोंने अलग-अलग भाषाओं की फिल्मों में काम किया है जिनके लिए उन्हें आज भी याद किया जाता है. भाषा की दीवार को तोड़ते हुए स्मिता पाटिल हिंदी फिल्मों के अलावा मराठी, पंजाबी, तेलगु, गुजराती, कन्नड़, और मलयालम फिल्मों में भी काम किया.
स्मिता पाटिल को इन उल्लेखनीय फिल्मों के लिए याद किया जाता है- मंथन (1977), भूमिका (1977), आक्रोश (1980), चक्र (1981), चिदंबरम (1985), मिर्च मसाला (1985) और गुलामी (1985).
पुरस्कार और सम्मान
1. फिल्म फेयर अवार्ड
स्मिता पाटिल को 6 बार फिल्म फेयर अवार्ड फॉर बेस्ट एक्ट्रेस के लिए नॉमिनेट किया गया . दो बार उन्हें फिल्म फेयर अवार्ड फॉर बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस के लिए नॉमिनेट किया गया.
1982 की फिल्म चक्र के लिए फिल्म फेयर अवार्ड फॉर बेस्ट एक्ट्रेस मिला
2. नेशनल फिल्म अवार्ड फॉर बेस्ट एक्ट्रेस
स्मिता पाटिल नेशनल अवार्ड फॉर बेस्ट एक्ट्रेस के लिए दो बार नॉमिनेट हुई और दोनों बार उन्हें यह अवार्ड मिला.
पहली बार 1977 में फिल्म भूमिका के लिए नेशनल अवार्ड से सम्मानित किया गया.
1980 मैं उन्हें फिल्म चक्र के लिए दूसरी बार नेशनल फिल्म अवार्ड फॉर बेस्ट एक्ट्रेस से सम्मानित किया गया.
3. भारत सरकार ने 1985 में फिल्मों में योगदान के लिए पदम श्री पुरस्कार से सम्मानित किया.
स्मिता पाटिल के बारे में कुछ अनकही अनसुनी बातें
1. स्मिता पाटिल और राज बब्बर पहली बार उड़ीसा के राउरकेला में मिले थे जहां सतीश मिश्रा के फिल्म भीगी पलकें कि शूटिंग करने गए थे. पहले मुलाकात में स्मिता पाटिल और राज बब्बर में झगड़ा हो गया था. इस ‘प्यारे झगड़े’ नहीं उनके रिश्तो की नींव रख दी.
2. पहले ही मुलाकात में राज बब्बर स्मिता पाटिल से प्रभावित हो गए थे.
3. राज बब्बर बताते हैं स्मिता पाटिल थोड़ी “मिजाज’ वाली सी थी. वह वह अपने आसपास के लोगों के बारे में बेपरवाह थी. वह सभी को नजरअंदाज कर दिया करती थी.
3. शूटिंग के दौरान पूरी टीम एक डाक बंगले में ठहरी थी. डिनर के वक्त भी वह किताब पढ़ने में खोई हुई थी और खाना खा रही थी. इस पर राज बब्बर ने विनम्रता से कहा क्या हमारी उपस्थिति आपको डिस्टर्ब कर रही ? क्या हम यहां से चले जाएं ताकि आप अच्छे से खा सकें?
यह बात सुनकर स्मिता पाटिल ने किताब को मोड़ के रख दिया और खाना खाने लगी. खाना खाने के बाद वह अपने रूम में चली गई जबकि सारे टीम मेंबर्स आधी रात तक हंसी मजाक करते रहे.
4. जब यूनिट मेंबर्स स्मिता पाटिल को सुबह में गुड मॉर्निंग कहते थे तो वह कहती थी ,’ अच्छा तुम्हें पता है कि लोगों के साथ कैसे अच्छा व्यवहार किया जाता है? जब राज बब्बर ने स्मिता से पूछा कि क्या आपको रात में अच्छी नींद आई? तो उनहोंने राज बब्बर की टिप्पणी को पूरी तरह से नजर अंदाज कर दिया.
5. स्मिता पाटिल घमंडी, नखरेवाली या भाव खाने वाली नहीं थी. उसमें एक सादगी था. वह उबला हुआ भिंडी और चावल भी खा लेती थी जिसे दूसरे लोग खाने से इनकार कर देते थे.
6. एक बार शूटिंग के दौरान क्रू मेंबर ने विद्रोह कर दिया. नाराजगी की वजह थी खराब खाना. यूनिट मेंबर अच्छे खाने का डिमांड कर रहे थे. इस पर स्मिता पाटिल गुस्सा हो गई और कहा मैं वही लाल चावल खाने जा रही जो तैयार किया गया है. थोड़ी देर बाद सारा मामला खत्म हो गया और सभी लाइन पर आ गए.

Disclosure: Some of the links below are affiliate links, meaning that at no additional cost to you, I will receive a commission if you click through and make a purchase. For more information, read our full affiliate disclosure here. |
See List of: |